ज़ब्त सोने की कीमत डेढ़ करोड़ रुपये से अधिक
जंक्शन के प्लेटफॉर्म नंबर-एक की घटना
आरपीएफ गया पोस्ट की टीम को गश्त के दौरान मिली सफलता
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आरपीएफ गया पोस्ट की टीम ने बुधवार को गया जंक्शन पर गश्त के दौरान करीब पौने तीन किलो सोने के साथ एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया। ज़ब्त सोने का अनुमानित बाजार मूल्य करीब 1 करोड़ 57 लाख नौ हजार दो सौ बताया।
जानकारी के मुताबिक, गया जंक्शन पर गश्त और ट्रेनों को सुरक्षित पास कराने के दौरान बुधवार को शाम करीब 6 बजकर 26 मिनट पर आरपीएफ के गश्ती दल को प्लेटफार्म संख्या - एक पर 12307अप हावड़ा-जोधपुर एक्सप्रेस के फर्स्ट क्लास एसी कोच HA1 से एक व्यक्ति को पिट्ठू बैग लेकर उतरते हुए देखा गया, जो पुलिस से नजर बचाते हुए तेजी से मेन गेट की तरफ बाहर जाने के लिए बढ़ रहा था। संदेह होने पर उक्त व्यक्ति को MCO ऑफिस के सामने रोका गया और पूछताछ में उसने अपना परिचय 38 वर्षीय नेमीचंद, पिता स्वर्गीय दुर्गादत्त, पता- खारडा थाना नापासार, जिला बीकानेर, राजस्थान, दिया। उक्त व्यक्ति ने आगे बताया कि हावड़ा-जोधपुर एक्सप्रेस की एसी कोच संख्या HA1 में सवार होकर हावड़ा से गया आया है। उसके बैग में सोने के आभूषण हैं। पकड़े जाने के डर से वह तेजी से स्टेशन से बाहर जा रहा था। इसके बाद आभूषण भरे बैग के साथ उस व्यक्ति आरपीएफ गया पोस्ट लाया गया और बैग को खुलवा कर चेक किया गया तो उसमें विभिन्न प्रकार के सोने के आभूषण मिला, जिसकी वीडियोग्राफी करायी गयी और मौके पर इलेक्ट्रॉनिक तराजू मंगाकर आभूषणों का वजन कराया गया। आभूषण का वजन 2.756 किलोग्राम था, जिसकी ज़ब्ती सूची बनायी गयी और आगे की कार्रवाई के लिए सहायक आयुक्त, GST, गया को सूचित किया गया। सूचना पर आरपीएफ पोस्ट पहुंचे असिस्टेंट कमिश्नर अजीत रंजन एवं असिस्टेंट कमिश्नर मुस्तार अकरम के सामने पकड़े गए व्यक्ति और ज़ब्त सोने के आभूषण को पेश किया गया, जिसके सत्यापन के पश्चात उनके द्वारा ज़ब्त सोने को सील कर आरपीएफ गया पोस्ट को सौंप दिया गया और यह निवेदन किया गया कि ज़ब्त सोने को तभी विमुक्त किया जाए, जब कार्यालय वाणिज्यकर विभाग द्वारा निर्गत विमुक्ति आदेश आपको प्राप्त ना हो जाए। साथ ही, पकड़े गए व्यक्ति नेमीचंद को निर्देशित किया गया कि सोने के मालिक और वैद्य कागजात के साथ राज्यकर अपर आयुक्त(प्रा.) वाणिज्य कर विभाग मगध प्रमंडल, गया के कार्यालय में उपस्थित हो। ज़ब्त सामान को सुरक्षित आरपीएफ गया पोस्ट के शस्त्रागार में रख दिया गया।